विर बेताल साधना

विर बेताल साधना बहुत ही खतरनाक और प्रचंड साधना हे इस शक्ति को सिद्ध करके साधक बड़ा तांत्रिक बन सकता हे हर तांत्रिक क्रिया आसानी से कर सकता हे और हर तंत्र की काट कर सकता हे,वीर बेताल साधना करके साधक हर षट कर्म आसानी से कर सकता हे,

तो चलिए विस्तार से जानते हे विर बेताल साधना कैसे होती हे और उसका विधि विधान क्या हे उसके बारे में विस्तार से चर्चा करते हे,

विर बेताल साधना  एक आध्यात्मिक प्रक्रिया है और इसके लिए आपको ध्यान, तपस्या, और आध्यात्मिक साधना की शिक्षा प्राप्त करने की आवश्यकता होती है। वीर बेताल की साधना के लिए आपको एक गुरु की मार्गदर्शन और उनकी दिशा में पूरी तरह से समर्थन चाहिए, क्योंकि यह एक अद्वितीय और गम्भीर साधना होती है।

ये कुछ महत्वपूर्ण चरण हैं जो वीर बेताल की साधना में आपकी मदद कर सकते हैं:

गुरु की चयन:

एक अच्छा आध्यात्मिक गुरु चुनना महत्वपूर्ण है, क्योंकि वे आपको सही मार्ग पर ले जाने में मदद करेंगे।

ध्यान और तपस्या:

वीर बेताल की साधना के लिए ध्यान और तपस्या का अभ्यास करना महत्वपूर्ण है। इसके माध्यम से आप अपने मन को नियंत्रित कर सकते हैं और आध्यात्मिक स्थितियों को प्राप्त कर सकते हैं।

मंत्र जाप:

वीर बेताल के मंत्र का जाप करना भी साधना का हिस्सा हो सकता है। गुरु के मार्गदर्शन में, आपको सही मंत्रों का उच्चारण करना सिखना होगा।

सेवा और दान:

आध्यात्मिक साधना में सेवा और दान का महत्वपूर्ण भाग हो सकता है। दूसरों की मदद करने और दान करने से आपकी साधना में सफलता मिल सकती है।

आध्यात्मिक साधना के दौरान, आपको अपने गुरु के निर्देशों का पूरा अनुसरण करना चाहिए और अपने मानसिक और भौतिक स्वास्थ्य का ध्यान रखना चाहिए। यह एक दीर्घकालिक प्रक्रिया होती है और समर्पित अभ्यास की आवश्यकता होती है।

ध्यान और साधना के द्वारा, आप अपने आध्यात्मिक लक्ष्यों को प्राप्त कर सकते हैं, लेकिन यह एक अत्यंत गम्भीर और व्यक्तिगत प्रक्रिया होती है, और यह समर्पण और संघटन चाहिए।

बहुत ही उग्र और  शक्तिशाली  साधना  बेताल साधना,हर कार्य को करने में माहिर  हे बेताल। चाहे वशीकरण हो मोहिनी विद्वेषण हो या मारण ,पलक जपकते ही कार्य कर देता हे बेताल।

विर बेताल साधना

मंत्र:-

!! फु फु फुल्लार  शब्दो  वसति  फणिर्जायते  यस्य कण्ठे।

डिम  डिम  डिन्नाति  डिन्नम  डमरू  यस्य  पाणों प्रकम्पम।

तक तक तन्दाती तन्दात धीर्गति धीर्गति व्योमवार्मि

सकल भय हरो भैरवो सः न पायात।।

साधना:-

ये साधना मंगलवार के दिन  प्रारंभ करे ,साधना  स्मशान में करे लगातार 5  दिन  तक  साधना करे,साधना में काले हकिक की माला का उपयोग करे,  उत्तर  दिशा की  तरफ  मुख  करके  बैठ जाये, गूगल  लोबान  की  धुनी  लगाये  अपने आसपास  सुगन्धित  इत्र छिड़क  दे हररोज 21 माला  करे   ये  विधि लगातार  5  दिन  तक करे,साधना के दरमियान विचित्र चेहरे या विचित्र ध्वनि भी सुनाई देगी पर डरे  बिना  साधना को चालू ही रखे,साधना को बिच में छोडके  खड़े न हो जाये अन्यथा साधना खंडित हो जाएगी  और साधक का ही बुरा होगा  ये साधना  बहुत  ही अघोर हे इसलिए गुरु की देखरेख में  ही  करे।

प्रयोग:-

जब कोई  तांत्रिक  प्रयोग करने की जरुरत  पड़े तब उपर्युक्त मंत्र 21 बार जपे बेताल  प्रगट  हो जायेगा और उसको जो भी काम  दोगे  वो  कर देगा, वीर बेताल का  उपयोग  ख़राब  काम  में कदापि इस्तेमाल न करे अन्यथा आपका ही बुरा होगा।

इस तरह साधक विर बेताल साधना करके उसकी सिद्धि हासिल कर सकता हे और हर तांत्रिक क्रिया आसानी से कर सकता हे.

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