Hazrat sadhna से साधक हर प्रश्न का उतर जान सकता हे, हाजरात विद्या से भुत-भविष्य का पता लग सकता हे पर इस साधना का प्रयोग गलत काम के लिए बिलकुल नहीं करना हे वरना आपकी साधना और सिद्धि नष्ट हो जाएगी।
इस पोस्ट में हमने २ Hazrat sadhna डाली हे साधक इसमें से कोई भी साधना का उपयोग कर सकता हे।
मंत्र
“बिस्मिल्लाहेरहेमानिर्रहीम मुहम्मदा ताहयासिला रनवलखता जीका असवार यहाँ चलंता कौन-कौन चाल्या, अर्जगिर पर पर्वत चले, हाजी चले, गाजी चले, ढोली बाजंत भेरी बाजत अहेमदा चलंत, महेमदा चलंत, सत्तर सिला चलंत, बहत्तर बल्लम चलंत एक लाख अस्सी हजार पीर पैगम्बर चलंत, बावन वीर चलंत, चौसठ जोगनी चलंत, नौ नारसिंह चलंत, बारह रावण चलंत, चौसठ मूसा चलंत, सुलेमान पैगम्बर का तख्त चलंत, लालपरी चली, सफेद परी चली, जरद परी चली, श्याम परी चली, सब्ज परी चली, हर परी चली, जूर परी चली, अलोल परी चली, आसमान परी चली, आकाश से उतरी बराय खुदा मेरे काम कू सिताबी उतारल्यावणा एक चलता, एक सौ चल्या दोय चलंता दोय सौ चल्या तीन चलंता, तीन सौ चल्या बड़े वेग सूं चल्या उडा कुडादेव चल्या मंदाऊ कालेश्वरी चली लंका पैरावण चल्या हनुमन्त चले घूनन गरसूं देव घूमा चली नदी नालेसूं चली मन्दोदरी रावणपुरी सूं चली उल्टी पाखर सुलटी लागी, जो कोई कहे हमारी बुरी उल्टी सोमरली देखू तेताल मन्त्र तेरी शक्ति बिस्मिल्ल बिस्मिल्लाहहेरहेमानिर्रहीम उत्तर का बाजा बजा उत्तर का बादशाह आया, पश्चिम का बाजा बजा पश्चिम का बादशाह आया, पूरब का बाजा बजा, पूरब का बादशाह आया काले-काले के असवार अपनी-अपनी जमात सिताबी लेकर आवण जहाँ हकालै जहाँ हाजिर रहेना दे खुदा मुहम्मदा की सुखीर पीर नीर-नीर नीला घोड़ा, नीला जीन जिस पर चढ़ि आया मुहम्मदा पीर रोजा करे निवाज गुजारे अन्न पानी के कने न आवै, खाज खाय अखज पर हरे सौ मुसलमान बहिस्त में जाय, सवा मन लोहे की जंजीर तोड़ तो जाई तोड़ तो आव हाथ कुदाड़ी गले जंजीर ऐसी कही सुनो मुहम्मद पीर अपनी मुदरा पेश करी, पराई मुदरा तोड़ डाल, हमारी हकार तुम्हारी पुकार किले नारसिंह किले की सवारी ठः
मंत्र सिद्ध करने की विधि
सवा गज सफेद कपड़ा लेकर लोबान की धूप दी जाए। फिर सवा सेर चावल लेकर थाली में पानी भरकर रखें। उसमें चौमुखा दीपक जलाये। फिर किसी कन्या को स्नान करवा के तथा नये कपड़े पहनाकर उसके सामने बैठायें तथा गुड़ की गोली को उपरोक्त मन्त्र से ३४ बार अभिमन्त्रित कर कन्या को खिलायें। फिर कन्या दीपक के ऊपर दृष्टि जमाये। उससे जो कुछ पूछा जाएगा, उसका वह उत्तर देगी।
हाजिरात साधना
मंत्र
“बिस्मिल्लाहेर्रहेनिर्रहीम खुदाई बड़ा तूबड़ा जैनुद्दीन पैगम्बर दुनी तेरी सादान फरो वादना मुरारी बेबनियादि तुर्कमा परि तायिया सिलार देखू तेरी शक्ति बेगि बाँधि ल्याव नौ नारसिंह चौरासी कलवा बारा ब्रह्मा अठारह सौ शाकिनी कामन दुरासन छल छिद्र भूत-प्रेत चोर चाखर अगिया बेताल बेगि बांधि लाव जो न बाँधि लावै तो दुहाई सुलेमान पैगम्बर की।”
मंत्र सिद्ध करने की विधि
सात शुक्रवार तक साधना करे, हिना का इत्र, लौंग, धूप तथा मिठाई से पूजन करके १०८ बार पढ़ने से यह हाजरात विद्या ४१ दिन में सिद्ध हो जाती है। मन्त्र के सिद्ध हो जाने पर जब हाजिरात करना हो, तब फर्श पर मिट्टी से चौका लगावें और उस पर त्रिशूल बना कर उसके ऊपर कन्या को स्नान कराकर तथा स्वच्छ वस्त्र पहनाकर बैठाएँ फिर कन्या के सामने दीपक जलाकर रखें फिर मन्त्र को पढ़-पढ़कर दीपक पर चावलों को मारें तो वह कन्या दीपक में देखकर आपके सारे प्रश्नों का उत्तर देगी।
अगर किसीका लड़का या लड़की घर से भाग गया हे या कोई वस्तु या चीज़ गूम हो गयी हे तो आप इसका पता आसानी से लगा सकते हे Hazrat sadhna से पर ध्यान ये रखना हे की आपका प्रश्न जायज होना चाहिए जायज काम के लिए इसका प्रयोग करोगे तो सब का भला होगा।
यह भी पढ़े